Ludo King Success Story In Hindi: कॉलेज में अपने दोस्तों के साथ बात करते हुए विकास को एक गेम का आईडिया आता है, और वो मात्र तीन महीने के अंदर एक गेम EGGY BOY बना लेते है, जिसे गेम ऑफ़ द मंथ का अवार्ड भी मिलता है, आगे चलकर विकास ने लूडो किंग नाम का एक गेम बनाया जोकि आज भारत में ही नहीं पुरे विश्व में खेला जाता है आपके साथ मैं हूँ अजीत ठाकुर स्वागत है आपका ज्ञानवर्ल्ड में चलिए जानते है लूडो किंग की कहानी
Ludo King Success Story
लूडो और साँप सीढ़ी जैसे खेल तो हम सब ने खेल ही होंगे, लेकिन आज की टेक्निकल दुनिया में मोबाइल लैपटॉप कंप्यूटर की मदद से हमारे गेम खेलने के तरीके को बदल कर रख दिया है, फुटबॉल क्रिकेट जैसे आउटडोर गेम्स या लूडो चैस जैसे इंडोर गेम्स बच्चों से लेकर बड़े सभी को गेम्स खेलना पसंद होता है और ऐसा ही जीवन था लूडो किंग के मालिक Vikash Jaswal का
विकाश का जन्म वर्ष 1977 में बिहार की एक राजधानी पटना के एक सहर दानापुर में हुआ, जब वो 2 साल के थे तो उनके पिता का देहांत हो गया, अपने बचपन के समय विकास की रुचि भी बाकि बच्चो की तरह वीडियो गेम्स में बढ़ने लगी Teddy Bear Story in Hindi
Ludo King Success Story: विकास वीडियो पार्लर जाते और वह मारिओ, कॉण्ट्रा और रोड फाइटर जैसे गेम्स घंटों खेलते, और यही टाइम था जब विकास ने एक गेम बनाने का सोचा, विकास ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा समाप्त करने के बाद, पटना के एक कंप्यूटर इंस्टिट्यूट से ग्राफ़िक डिजाइनिंग का कोर्स किया
लेकिन उन्हें लगा इस कोर्स के करने के बाद आगे कर्रिएर में आगे बढ़ने की संभावना कम है, इसलिए उन्होंने कंप्यूटर साइंस में इंजीनियरिंग करने का सोचा , विकाश ने 2 बार IIT का एंट्रेंस एग्जाम भी दिया लेकिन उनको सिलेक्शन नहीं मिल पाया
आखिर में उन्होंने MIT बुलन्दशहेर में एडमिशन ले लिया, इंजीनियरिंग करते हुए विकास गेम्स की CD ख़रीदते और उन गेम्स के सॉफ्टवेयर के बारे में अधिक से अधिक जानने की कोशिश करते
Vikash Jaiswal Success Story In Hindi
कॉलेज के थर्ड ईयर के दौरान जब वो अपने दोस्तों के साथ बैठे थे तभी उन्हें एक गेम बनाने का ख्याल आता है और मात्र 3 महीनो में ही विकास EGGY BOY नाम का एक गेम बना लेते है, जिसे जुलाई 2003 में पक क्वेस्ट मैगज़ीन ने गेम ऑफ़ द मंथ के अवार्ड से भी सम्मानित किया
वर्ष 2004 में विकास अपनी कॉलेज की पढ़ाई खत्म करने के बाद मुंबई में एक गेमिंग कंपनी (Indiagame LTD) में काम करने लगे, लेकिन विकास हमेशा से ही अपनी एक गेमिंग कंपनी खोलना चाहते थे History of Chewing Gum in HIndi
इसी कारण 2008 में इंडिया गेम्स से उन्होंने रिजाइन कर दिया और अपनी एक कंपनी Gmaetion Pvt. Ltd. की सुरुवात की, कंपनी की शुरुवात 250000 रूपए और सिर्फ 7 लोगो से की गयी, सुरुवात में कपनी पजल, रेसिंग और एक्शन से जुड़े गेम्स बनती थी जोकि सिर्फ कंप्यूटर पर खेला जा सकता था
कंपनी को असली पहचान तब मिली जब जब साल 2013 में लगभग 20 मिलियन लोग कंपनी की वेबसाइट पर हर महीने आने लगे, लेकिन साल 2014 आते आते विकास को लगा कि गेम खेलने का तरीका अलग हो चूका है और अब लोग कंप्यूटर या लैपटॉप पर नहीं बल्कि स्मार्टफोन में गेम खेलना ज्यादा पसंद करते है
विकास ने कंप्यूटर वाले गेम्स का मोबाइल वर्शन बनाना शुरू किया लेकिन उन्हें सफलता नहीं मिल पाई, उन्होंने 10 और गेम्स मोबाइल वर्शन और लांच किये लेकिन फिर भी सफलता मानो विकास से दूर भाग रही थी
उन्हीं दिनों विकास ने एक गेम स्नेक एंड लाड्र्स को देखा उसके बाद उन्हें लूडो गेम बनाने का आईडिया आया, विकास ने अपनी टीम के साथ लूडो के मोबाइल वर्शन बनाने के बारे में बातचीत की लेकिन टीम को वो आईडिया पसंद नहीं आयाVikash Jaiswal Biography In Hindi
Ludo King Success Story In Hindi: टीम को लगा की आज के टाइम में लूडो कौन खेलता होगा लेकिन विकास किसी तरह अपनी टीम को लूडो गेम बनाने के लिए अपनी और आकर्षित करने में सफल रहे और दिसम्बर 2016 में लूडो किंग नाम का गेम लांच किया जाता है और कुछ ही दिनों में लूडो किंग सबसे ज्यादा डाउनलोड होने वाला गेम बन जाता है, दोस्तों आज लूडो की 100 मिलियन से भी ज्यादा डौन्लोडस के साथ गूगल प्ले स्टोर पर नंबर 1 गेम बना हुआ है
लूडो किंग भारत ही नहीं पूरे विश्व में एक लोकप्रिय गेम बन गया है, इस सफलता के बाद भी विकास का कहना है कि हमें गेम मनोरंजन के लिए खेलना खेलना चाहिए और गेम के बुरे प्रभाव से बचना चाहिए
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